पौने दो घण्टे का आंधी तूफान और छह घण्टे का ब्लैक आउट
संजय गुप्ता मांडिल
मुरैना 07 मई 07 । कल शाम अचानक आये आंधी तूफान ने चम्बल अंचल में काफी कहर ढाया और लोगों के टीन टप्पर सहित छान छप्पर भी उड गये । कल शाम 6 बजे आये आंधी तूफान के साथ ही अंचल की बिजली गुल हो गयी और तेज धूम धड़ामी धूल भरे आंधी तूफान के पौने दो घण्टे तक यानि रात पौने आठ बजे तक चले कहर के बाद भीषण गर्मी और भयानक मच्छरों से बेहाल लोगों को पूरे छह घण्टे रात में बिना बिजली के गुजारने पड़े ।
शाम छह बजे गुल हुयी बिजली रात बारह बजे के बाद ही बहाल हो सकी । इसके बाद फिर दोबारा आज दिन भर भी लोगों को बिजली का कहर झेलना पड़ा । जहॉं दोपहर साढ़े बारह बजे बिजली गुल हुयी वह पूरे साढ़े तीन घण्टे बाद यानि चार बजे आयी । इसके बाद दोबारा बिजली छह बजे फिर शाम को जाकर साढ़े छह बजे वापस आयी ।
भयानक गर्मी और विकट मच्छरों के आतंक से आतंकित अंचलवासी इन दिनों रात में की जा रही अघोषित बिजली कटौती से भारी परेशान हैं । जहॉं नन्हे मुन्ने बच्चों की इन हालातों में हालत खराब हो जाती है, वहीं अनाप शनाप बिजली कटौती के चलते ग्रीष्म कालीन मौसमी बीमारीयों ने भी अंचल में पॉंव पसारना शुरू कर दिये हैं । लोगों में अजीबो गरीब बुखार के साथ ही मीजल्स और एक भयानक व अजीब सा सिर दर्द व बदन दर्द अंचल के सैकड़ों परिवारों में फैल रहा है ।
मीजल्स के कई रोगी तो प्रारंभ में इसे माता समझकर ही ऐहितियाती उपाय बरतते रहे, लेकिन बाद में पता चला कि यह माता नहीं बल्कि खतरनाक मीजल्स अंचल में फैल रहा है । इस संक्रामक रोग में पहले घर का कोई एक सदस्य बीमार होता है फिर पूरे ही घर के सदस्यों को यह मीजल्स हो जाता है । इसी प्रकार बुखार और दर्द के मामलों में भी पहले घर का कोई एकाध सदस्य बीमार होता है फिर पूरे घर के सदस्यों को यह रोग हो जाता है ।
ऐसे में अघोषित व अनाप शनाप बिजली कटौती जहॉं लोगों के सुख चैन पर कहर बन कर छा रही है वहीं खतरनाक बीमारीयों के प्रसार की पालक पोषक व संवहक भी बन रही है ।
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